JEE-NEET की तैयारी सिर्फ ₹1000 में! फ्री हॉस्टल और खाना भी मिलेगा – जानें कैसे होगा एडमिशन Vande Mataram Hostel

By Prerna Gupta

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Vande Mataram Hostel – अगर आप या आपके परिवार में कोई ऐसा छात्र है जो NEET या JEE की तैयारी कर रहा है, लेकिन आर्थिक तंगी के चलते महंगी कोचिंग और हॉस्टल फीस अफोर्ड नहीं कर पा रहा, तो यह खबर आपके लिए किसी वरदान से कम नहीं है।

राजस्थान के सीकर जिले में एक अनोखी पहल की गई है, जो उन मेधावी लेकिन आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों को सपनों को साकार करने का मौका दे रही है। इस पहल का नाम है – वंदे मातरम छात्रावास, जिसे डॉ. हेडगेवार स्मृति प्रन्यास द्वारा संचालित किया जा रहा है।

क्या है इस योजना की खासियत?

सीकर के राधाकिशनपुरा क्षेत्र में स्थित वंदे मातरम छात्रावास उन छात्रों के लिए एक बेहतरीन जगह बन चुका है जो 12वीं के बाद JEE या NEET की तैयारी करना चाहते हैं लेकिन उनके पास संसाधनों की कमी है। यहां सिर्फ ₹1000 में रहने और खाने की सुविधा मिल रही है – वो भी पूरे महीने की।

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इस छात्रावास में फिलहाल 36 छात्र रहकर JEE और NEET की तैयारी कर रहे हैं। खास बात यह है कि ये सभी छात्र आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों से आते हैं और पढ़ाई में अव्वल हैं।

चयन प्रक्रिया कैसी है?

इस योजना का लाभ कोई भी छात्र ऐसे ही नहीं उठा सकता। इसके लिए एक प्रवेश समिति द्वारा सख्त चयन प्रक्रिया अपनाई जाती है। जानिए क्या हैं मानदंड:

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मानदंड विवरण
वार्षिक पारिवारिक आय ₹2 लाख से कम
शैक्षणिक योग्यता 12वीं में कम से कम 90% अंक
एक परिवार से एक छात्र केवल एक को ही मिलेगा प्रवेश
वंचित वर्ग आरक्षण 50% सीटें आरक्षित, खाली होने पर सामान्य वर्ग को दी जाती हैं

इसका मतलब यह है कि अगर आप मेहनती हैं, अच्छे नंबर लाते हैं लेकिन आपकी जेब ज़्यादा खर्च उठाने लायक नहीं है, तो यह छात्रावास आपके लिए बिल्कुल उपयुक्त है।

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कौन-कौन सी सुविधाएं मिलती हैं?

छात्रावास में सिर्फ छत और खाना ही नहीं, बल्कि हर वो सुविधा मिलती है जो एक प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहे छात्र को चाहिए:

  • 18 कमरे, हर कमरे में 2 छात्र
  • स्टडी टेबल, कुर्सी, आरओ पानी, केतली
  • सुबह नाश्ता, दोपहर और रात का खाना
  • सप्ताह में दो बार विशेष आहार (Special Diet)
  • 24 घंटे वार्डन की निगरानी
  • CCTV सुरक्षा व्यवस्था
  • शांति और अनुशासन से भरपूर माहौल

कोचिंग फीस की भी होती है मदद

अगर किसी छात्र की कोचिंग फीस भरने में दिक्कत होती है, तो इस संस्था के सदस्य सीकर के कोचिंग संस्थानों से संपर्क करते हैं और जरूरतमंदों के लिए छात्रवृत्ति या फीस माफी भी दिलवाते हैं। यानी यहां न सिर्फ छात्रावास बल्कि आपकी पढ़ाई का भी पूरा ख्याल रखा जाता है।

यह पूरी व्यवस्था सामाजिक सहयोग से चलती है – किसी तरह की सरकारी मदद नहीं ली जाती। सीकर के लोग खुद बढ़चढ़कर इन छात्रों की मदद करते हैं।

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कैसे करें आवेदन?

अगर आप इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं, तो आपको कुछ आसान स्टेप्स फॉलो करने होंगे:

  1. अपने दस्तावेज तैयार करें – 12वीं की मार्कशीट, आय प्रमाण पत्र, आधार कार्ड
  2. छात्रावास में संपर्क करें – डॉ. हेडगेवार स्मृति प्रन्यास, वंदे मातरम चौक, राधाकिशनपुरा, सीकर
  3. साक्षात्कार या टेस्ट की प्रक्रिया में भाग लें
  4. चयन होने पर ₹1000 देकर प्रवेश पाएं

यह सिर्फ हॉस्टल नहीं, एक सपना है

वंदे मातरम छात्रावास एक मिशन है – गरीब लेकिन मेहनती छात्रों को मेडिकल और इंजीनियरिंग की बड़ी-बड़ी परीक्षाओं में सेलेक्शन दिलाने का सपना। यहां पैसे की कमी नहीं, आपकी मेहनत और लगन को प्राथमिकता दी जाती है।

अगर आप या आपके किसी जानने वाले छात्र का सपना है कि वह डॉक्टर या इंजीनियर बने, लेकिन पैसों की तंगी उसके रास्ते में दीवार बन रही है, तो सीकर का वंदे मातरम छात्रावास उसका सपना पूरा कर सकता है। सिर्फ ₹1000 में शानदार हॉस्टल, अच्छा खाना, सुरक्षित वातावरण और कोचिंग की मदद – इतना कुछ एक ही जगह मिल रहा है।

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